पॉलिटिकल ड्रामा के मुख्य सूत्रधार है अशोक गहलोत: शेखावत
- केंद्रीय मंत्री ने लगाया आरोप- पायलट को नेतृत्व की नजरों में गिराने के लिए लिखी स्क्रिप्ट
सेवा भारती समाचार
जोधपुर। केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को निशाने पर लिया है। उन्होंने कहा कि राज्यसभा चुनाव के नाम पर जिस तरह का पॉलिटिकल ड्रामा चल रहा है, उसके मुख्य सूत्रधार अशोक गहलोत हैं। वो केवल अपनी विफलता व घबराहट को छुपाने और पार्टी-सरकार की अंतरकलह से ध्यान हटाना चाहते हैं। उप मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन को पार्टी के शीर्ष नेतृत्व की नजरों में गिराने के लिए इस ड्रामे की स्क्रिप्ट गहलोत ने रची है। शेखावत ने कहा कि अभी समय आने पर कई सितारे बदलेंगे। ग्रह-नक्षत्रों की चाल, गणनाएं बदलेंगी, देखते जाइए। वो बदमान इसलिए नहीं कर रहे कि वो हमारे रडार पर हैं। वो बदनाम इसलिए कर रहे हैं कि उनकी फाइल निपटाने की कोशिश कर रहे हैं। आप अच्छी तरह जानते हैं कि 2018 के चुनाव में राजस्थान का मुख्यमंत्री किसको बनाने को लेकर चुनाव लड़ा जा रहा है। किसने बाजीगरी करके पासा कैसे पलटा। राज्य की सीमाएं सील करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि कोरोना के नाम पर राजनीतिक वायरस को रोकने और राजनीतिक वायरस को छोडऩे का जो काम किया गया था, इसको आप अच्छी तरह से जानते हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राजस्थान में हॉर्स ट्रेडिंग हो रही है तो आप नाम बताएं। आप नाम इसलिए नहीं बता पाओगे, क्योंकि ऐसा कोई ऑफर किसी ने दिया। आपने खुद यह मायाजाल बनाया है। जादूगर आपको कहा जाता है, मुझे लगता है कि पहली बार हम सबने जादू देखा है। कम से कम एक विधायक का नाम तो बताइए, जिसको आप कमजोर कड़ी मानते हैं। एसओजी में मुकदमा इसलिए कराया, ताकि कोई बेचारा निर्दलीय विधायक इधर-उधर जाने से पहले, स्वविवेक से मतदान करने से पहले सोचे। कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने राजस्थान के विधायक, जनता को डराते हुए कहा कि गहलोत साहब जब चक्की पिसते हैं तो बहुत बेदर्दी के साथ पिसते हैं। शेखावत ने कहा कि मदेरणा समेत कांग्रेस के कई दिग्गज नेताओं ने इसको महसूस किया है। जनता पिछले डेढ़ साल से, जब से उनके पुत्र चुनाव में हारे हैं, चक्की में पिसी जा रही है। जनता कैसे चक्की पिसती है, यह सुरजेवाला ने जींद और कैथल में महसूस किया होगा। ऐसे पिसे-पिसाए और पिटे-पिटाए लोग राजस्थान में आकर आबोहवा खराब करने का जो प्रयास कर रहे हैं, सारे षडय़ंत्र को जनता देख-समझ रही है। शेखावत ने कहा कि मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि राज्यसभा चुनाव पहले भी कराया जा सकता था। ये टाले गए, क्योंकि हॉर्स ट्रेडिंग की रचना पूरी नहीं हुई थी। मैं पूछना चाहता हूं कि आपने क्यों आगे बढक़र के जोधपुर और ऐसे जैसे निगमों, पंचायती राज के चुनाव टाले थे? शेखावत ने कहा कि आज उन्होंने जिस तरह से नरेंद्र मोदी और अमित शाह का नाम लेकर मुख्यमंत्री ने लोकतांत्रिक मूल्यों का गला घोटा है। ये निंदा के योग्य है। देश के सबसे लोकप्रिय नेता नरेंद्र मोदी का अपमान करने का प्रयास किया है। जनता समय आने पर इसका हिसाब उनसे पूछेगी। शेखावत ने कहा कि बाड़ेबंदी रोकने पर मुख्यमंत्री ने कहा कि शायद संविधान में ऐसे संशोधन कर भी दिए जाएंगे, कानून भी बना दिए जाएंगे तो भी गलियां निकल जाएंगी, क्योंकि आर्टिकल 356 का 93 बार उपयोग कांग्रेस पार्टी ने किया। वो हमसे ज्यादा अच्छी तरह से जानते हैं। गली किधर से होकर किधर को जाती है। शेखावत ने कहा कि मुख्यमंत्री बोले, आदमी की नीयत सबसे बड़ा कानून है। जब आदमी के जमीर पर प्रश्न उठता है, उसके स्वाभिमान पर चोट पड़ती है, तब ज्योतिर्दित्य सिंधिया के साथ 23 लोग पार्टी छोडक़र अपनी विधायकी से इस्तीफा देकर आना स्वीकार करते हैं। मप्र में लोगों ने अपने जमीर को बचाने के लिए कांग्रेस को छोड़ा और भाजपा का दामन आकर थामा है। ऐसे सौ चूहे खाकर के हज पर गई बिल्लियां, जिन्होंने खुद बसपा को दो बार संपूर्ण विलय किया। संवैधानिक होने के नाम पर उसके चुने हुए जनप्रतिनिधि उठाकर विलय कराया। ऐसे लोग संविधान और लोकतंत्र की बात करते हैं। केंद्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने कहा कि राजस्थान कांग्रेस के मुखिया सचिन पायलट ने कहा कि बाड़बंदी नहीं है, ये तो गेट-टू-गेदर है। मैं उनको बिना मांगे सलाह देना चाहता हूं। दस दिन में दस-दस मिनट एक-एक आदमी को बुलाकर सुन लेना, उससे जनता का दर्द पूछ लेना कि कितनी तकलीफ में राजस्थान की जनता है। यदि जनता का ये दर्द आप समझ पाओगे तो साढ़े तीन साल में राजस्थान की जनता को शायद कुछ कम कष्ट होगा, अन्यथा राजस्थान की जनता तो लोकसभा के चुनाव से ही मानस बनाकर बैठी है कि आने वाले चुनाव में उसको किस तरह का फैसला करना है।